ताइफून गैमी का प्रकोप: चीन, ताइवान, और फिलीपींस में भारी तबाही

Ranjit Sapre जुलाई 26, 2024 समाचार 6 टिप्पणि
ताइफून गैमी का प्रकोप: चीन, ताइवान, और फिलीपींस में भारी तबाही

ताइफून गैमी: चीन में तांडव

ताइफून गैमी के प्रलयकारी प्रभाव से चीन में हालात बेहद नाजुक हो गए हैं। ताइफून ने ताइवान और फिलीपींस में तबाही मचाने के बाद चीन की धरती पर कदम रखा है। चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने इस आपदा पर व्यापक विचार-विमर्श और योजनाओं को साकार करने के लिए एक उच्चस्तरीय बैठक का आयोजन किया। बाढ़ नियंत्रण और आपदा राहत योजनाओं को तत्काल क्रियान्वित करने के निर्देश दिए गए।

फुजियान प्रांत में 150,000 से अधिक निवासियों को सुरक्षित स्थानों पर भेजा गया है। ताइफून के दुष्प्रभाव से जन-धन की भारी क्षति हो चुकी है। अब तक 21 लोगों की मृत्यु की पुष्टि की गई है, और कई इलाकों में जनजीवन ठहर सा गया है।

ताइवान में भारी बारिश और बाढ़

ताइवान में ताइफून गैमी के कारण सफाई अभियान चलाया जा रहा है। यह ताइफून पिछले आठ वर्षों में ताइवान को प्रभावित करने वाला सबसे प्रचंड तूफान माना जा रहा है। विभिन्न क्षेत्रों में 1000 मिमी से अधिक वर्षा हुई है, जिसके कारण व्यापक बाढ़ का स्वरूप देखने को मिला है। ताइफून ने तीन लोगों की जान ले ली है और कई अन्य लोग बाढ़ के पानी में फंसे हुए हैं।

मिसिंग बर्मीज नाविक और बंदरगाह का संकट

ताइवान के उत्तरी तट से एक तेल टैंकर के डूबने के बाद छह बर्मीज नाविक लापता हो गए हैं। इसका सीधा असर ताइवान की समुद्री सुरक्षा पर पड़ा है और नाविकों की खोज एवं बचाव अभियान त्वरित गति से किए जा रहे हैं।

फिलीपींस में ताइफून का प्रभाव

फिलीपींस में ताइफून गैमी ने मौसमी मॉनसून बारिश को और भी तीव्र कर दिया, जिसके परिणामस्वरूप कई क्षेत्रों में भारी बाढ़ आई है। इस प्रक्रिया में भारी मात्रा में जलजमाव और जनजीवन अस्त-व्यस्त हुआ है।

फिलीपींस के तट पर एक 1.5 मिलियन लीटर ईंधन ले जा रहा टैंकर डूब गया, जिससे तेल फैलने का खतरा उत्पन्न हो गया है। फिलीपींस कोस्ट गार्ड इस तेल रिसाव को रोकने और इसे राजधानी मनीला तक पहुंचने से बचाने के लिए समय के साथ संघर्ष कर रहा है।

आपदा प्रबंधन: वैश्विक प्रयास

यह ताइफून गैमी की तबाही की केवल कुछ झलकियां हैं, जो यह दिखाती हैं कि प्राकृतिक आपदाओं से निपटने के लिए उच्चस्तरीय प्रबंधन और संसाधनों की आवश्यकता होती है। तीन देशों में तबाही का स्वरूप गंभीर है, लेकिन उनका निवारण और पुनर्वास कार्य प्रशासन और नागरिकों की सहभागिता से ही सम्भव है।

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    ताइफून गैमी का प्रकोप: चीन, ताइवान, और फिलीपींस में भारी तबाही

    ताइफून गैमी ने चीन में भयानक तबाही मचाई है, इसके पहले यह ताइवान और फिलीपींस में भी भारी नुकसान कर चुका है। चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने बाढ़ नियंत्रण और आपदा राहत योजनाओं पर एक बैठक की अध्यक्षता की। 150,000 से अधिक लोगों को सुरक्षित स्थानों पर स्थानांतरित किया गया है। ताइफून के कारण कम से कम 21 लोगों की मृत्यु हुई है।

6 टिप्पणि

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    Ketkee Goswami

    जुलाई 26, 2024 AT 10:00

    हम सबको मिलकर राहत कार्य में मदद करनी चाहिए।

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    Shraddha Yaduka

    जुलाई 26, 2024 AT 10:20

    सही कहा, टीम वर्क से ही हम जल आपदा से उबर पाएंगे।
    सरकार ने शरणस्थलों की व्यवस्था शुरू कर दी है, लेकिन बुनियादी जरूरतों की पूर्ति अभी भी दबी हुई है।
    स्थानीय NGOs ने भोजन और किट्स वितरित करना शुरू कर दिया है, इसलिए हमें उनकी मदद के लिए स्वयंसेवक बनना चाहिए।
    समुदाय की सहभागिता से ही पुनर्निर्माण तेज़ होगा।

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    gulshan nishad

    जुलाई 26, 2024 AT 10:40

    ताइफून के बारे में लिखी गई खबर में बहुत सारी जानकारी है, लेकिन वास्तविक पीड़ितों की आवाज़ नहीं सुनी जा रही।
    समुदाय की मदद के लिए बुनियादी ढाँचे की चर्चा नहीं की गई है।
    ऐसे बड़े आपदा में सरकार की जवाबदेही को साफ़ तौर पर दिखाना जरूरी है।

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    Ayush Sinha

    जुलाई 26, 2024 AT 11:00

    पिछली त्रुटियों को दोहराते हुए, अभी भी यही कहा जा रहा है कि सरकार की योजना ही काफी है, जबकि जमीन पर सहायता नहीं पहुँच पाती।
    जो लोग सीधे प्रभावित हैं, उन्हें बुनियादी सहयोग चाहिए, न कि बस बैठकर रिपोर्ट।
    अभी की असली जरूरत त्वरित राहत और पुनर्वास है, न कि शब्दों की भरमार।

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    Saravanan S

    जुलाई 26, 2024 AT 11:20

    प्रभावित क्षेत्रों में जल-जनित बीमारियों की संभावना बढ़ रही है, इसलिए स्वास्थ्य सेवाओं को तुरंत सक्रिय करना चाहिए;
    स्थानीय अस्पतालों को अतिरिक्त दवाइयाँ, बैंडेज और उपचार उपकरण उपलब्ध कराना आवश्यक है;
    सामुदायिक स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं को आपदा क्षेत्रों में टीकाकरण अभियान चलाना चाहिए;
    फसल नुकसान के कारण ख़ाना संकट को रोकने के लिए त्वरित खाद्य वितरण योजनाएँ बनानी चाहिए;
    बच्चों और बुज़ुर्गों की विशेष देखभाल के लिए अलग शेल्टर स्थापित किए जाने चाहिए;
    अंत में, सभी राहत कार्यों में पारदर्शिता बनाए रखनी चाहिए, ताकि लोगों का भरोसा बना रहे।

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    Alefiya Wadiwala

    जुलाई 26, 2024 AT 11:40

    ताइफून गैमी की तबाही को केवल आँकड़ों में सीमित नहीं करना चाहिए;
    ऐसे आपदा में पहले से तैयार आपातकालीन योजना की कमी खुद सरकार की अक्षम्यता दर्शाती है;
    फुजियान में 150,000 लोगों को सुरक्षित स्थानों पर भेजना सराहनीय है, परंतु उनका भोजन और चिकित्सा सुविधाओं की व्यवस्था अभी भी अधूरी है;
    ताइवान में तेल टैंकर का डूबना समुद्री सुरक्षा के लिहाज़ से एक चेतावनी है कि समुद्री यातायात को मौसम पूर्वानुमान के साथ कठोर नियमन की जरूरत है;
    फिलीपींस में तेल बचाव कार्य में कोस्ट गार्ड की कोशिशें हौसला अफजाई हैं, फिर भी बड़े पैमाने पर तेल रिसाव पर्यावरण को बर्बाद करेगा;
    ऐसे बड़े आपदा में अंतर्राष्ट्रीय सहायता की भूमिका को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता;
    फिलिपींस के स्थानीय प्रशासन को विदेशी एंजियोसिन जैसी तकनीक अपनानी चाहिए जो तेल को जल सतह पर तेजी से जमा कर सके;
    चीन में बाढ़ नियंत्रण के लिए हाईटेक सेंसर और रीयल-टाइम डेटा विश्लेषण को लागू करना अनिवार्य है;
    ताइवान के बाढ़ क्षेत्रों में स्थायी जल निकासी प्रणाली बनाकर भविष्य की बाढ़ को रोकने की संभावना बढ़ेगी;
    आवश्यक है कि इलाकों में रहने वाले लोग आपदा चेतावनी ऐप्स को सक्रिय रूप से उपयोग करें;
    गैर-सरकारी संगठनों को भी अपने आपदा प्रबंधन प्रोटोकॉल को अपडेट करना चाहिए, खासकर इन शहरी क्षेत्रों में जहाँ जनसंख्या घनत्व अधिक है;
    भविष्य में हमें अधिक सतर्क रहने की जरूरत है, क्योंकि जलवायु परिवर्तन के प्रभाव से ऐसी तीव्र स्थितियाँ दोहराई जा सकती हैं;
    समुदाय स्तर पर बचाव टीमों का प्रशिक्षण नियमित रूप से होना चाहिए, ताकि आपातकाल में तेज़ प्रतिक्रिया मिल सके;
    शिक्षा संस्थानों को भी आपदा प्रबंधन के बारे में पठन-पाठन में शामिल करना चाहिए, जिससे युवा पीढ़ी तैयार हो सके;
    संक्षेप में, केवल सरकारी आदेश नहीं, बल्कि जनता की सक्रिय सहभागिता और विज्ञान-आधारित उपाय ही इस आपदा को कम कर सकते हैं।

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